Tuesday 4 February 2020

आओगे ना !

हर मुसीबत में हमको बचाने, आओगे ना,
सचमुच अपना वादा निभाने, आओगे ना,

जाहिर है, इश्क़ हुआ है तो दिल भी टूटेगा,
ऎ दोस्त! तुम शराब तो पिलाने, आओगे ना।

क्या ज़ुल्म है तुम्हारा यूं रूठकर चले जाना,
अरे, हमारी गलती तो बताने, आओगे ना।

हमसे बेहतर दूसरा कोई, मिल जाएगा तुम्हें,
तुम भी तो बस यही समझाने, आओगे ना।

तुम्हारे आने की आस में अब भी जल रहे हैं,
इन नादान दियों को तो बुझाने, आओगे ना।

हमारे साथ की वो यादें तुम्हारे साथ रह गई हैं,
उन्हें लौटाने ही सही, इस बहाने, आओगे ना।

- आदर्श जैन

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